बर्बाद पाकिस्तान| Imran Khan Failed PM| Pakistan Army



पाकिस्तान संसद में प्रधानमत्री इमरान खान ने बड़े ताव में आकर कहा की हमने फ्रांस के खिलाफ सभी मुस्लिम देशो को चिट्ठी लिखी है की हम सब को एक होकर दिखाना होगा और फ्रांस को बताना होगा की हमारे दिलो में नबी का क्या महत्त्व है"

पिछले महीने फ्रांस में इतिहास विषय के अध्यापक ४७ वर्षीय सैमुअल पेटी की १८ साल के अब्दुल्लाख ने गला रेत के हत्या कर दी थी, हत्या की वजह अध्यापक द्वारा इस्लाम पैगम्बर का कार्टून दिखाना बताया जा रहा है।  

इस हत्या को फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रॉन ने इस्लामिक आतंकवाद की संज्ञा थी और कहा की फ्रांस इस तरह के इस्लामिक आतंकवाद को बिलकुल भी बर्दाश्त नहीं करेगा और हम इन हरकतों का मुँह तोड़ जवाब देंगे, फ्रांस में इस तरह की असभ्य व् अमानवीय हरकतों की कोई भी जगह नहीं है बस यही से दुनिआ भर के कटटर मुस्लिम संघठनो ने फ्रांस के खिलाफ सिलसिलेवार मोर्चा बंदी शुरू कर दी , भारत में भी कई शहरो में मुस्लिम संघठनो ने फ्रांस के खिलाफ प्रदर्शन किया जिसका आम भारीतय समाज ने विरोध किया हालाँकि कुछ दलों में इनके लिए हमदर्दी भी दिखाई।

पकिस्तानी प्रधानमंत्री को इस बात का जरा भी अंदाजा नहीं होगा की फ्रांस पकिस्तान को इतनी जल्दी जवाब दे देगा, पकिस्तान के पास लगभग १५० फाइटर जहाज है जिसमे से आधे से जयादा फ्रांस की दसॉल्ट कंपनी से लिए गया है जिसने अभी हाल ही में भारत को रफाल विमान भी दिए है, दसॉल्ट के द्वारा दिए गए सभी जहा स पनडुब्बियां अभी अपग्रेड होने वालीं थी जिनको फ्रांस की सरकार ने अपग्रेड करने से मना कर दिया है।  अगर यह सभी जहाज व् पनडुब्बियां अपग्रेड नहीं होती है तो पाकिस्तानी आर्मी के सामने बहुत बड़ी सरदर्दी का सबब बन जायगी क्योकि यह सभी असलाह पकिस्तान आर्मी की रीढ़ की हड्डी है। 

इमरान खान की सरकार वैसे ही पकिस्तान में बार बार अलग मुद्दों की वजह से चाहे व् सरकार द्वारा कोरोना को लेकर किये गए इंतजाम हो या फिर पकिस्तान की डूबती हुई अर्थवयवस्था व् बढ़ती हुई महंगाई हो अवाम के गुस्से का शिकार होना पड़ता है।  विश्व स्तर पर भी पकिस्तान को अत्नाक्वादियो को पनाह देने वाला देश मन जाता है, 9 /11 मैं अमेरिका पर हुए आतंकवादी हमले का सरगना ओसामा बिन लादेन पकिस्तान के एबटाबाद इलाके मैं ही चुप कर रह रहा था जिस अमेरिका ने उसे वही उसके ठिकाने पर ही अपने कमांडो भेजकर मोत की नीद सुला दिया था, इस खबर के बात पूरी दुनिआ मैं पकिस्तान की बहुत फजीहत हुई थी. उसके ऊपर अब फ्रांस द्वारा पकिस्तान के हथियारों को अपग्रेड करने से मना करना उसकी सेना की सरदर्दी बन गया है. 

पूरी दुनिआ मैं आतंकवाद को रोकने के लिए कोई भी ठोस कदम नहीं उठाने व् पाकिस्तान मैं आतंकवाद को पनाह देने की वजह से पकिस्तान की बहुत किरकिरी होती है, अमेरिका से एक बहुत बड़ा दान पकिस्तान को उसकी अवाम के लिए  बेहतर रोजगार के अवसर देना व् उनका जीवन स्तर सुधारने के लिए मिलता है लेकिन अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इस राशि को इस बार बहुत काम कर दिया है इसका सिफॅ दोष इमरान  खान की अपरिपक्व् राजनितिक समझ व् अपने देश को अच्छी प्रकार से विश्व के सामने प्रस्तुत नहीं कर पाने को दिया जाता है. 



वैसे पकिस्तान के राजनितिक इतिहास मैं कई बार सेना तख्ता पलट कर  चुकी है और वहां पर लोकतंत्र सिर्फ नाम के लिए रह गया है अन्यथा यह भी कहा जाता है की वर्तमान प्रधानमंत्री  अप्रतयक्ष रूप से सेना के द्वारा ही बनाया गया है. लोकतंत्र की बात करना पकिस्तान मैं एक मजाक है. इसका सबसे उत्तम उदाहरण बलोचिस्तान मैं आए दिन जवान  लोगो को पाकिस्तान आर्मी द्वारा उठा कर  ले जाना और अंत मैं उन्हें गायब कर देना , लोगो के परिवार वाले पुलिस थाने के चक्कर लगाते लगाते रो रो कर  पागल हो जाते है लेकिन पकिस्तान आर्मी का दिल नहीं पसीजता, बलोचिस्तान मैं पाकिस्तान आर्मी द्वारा हैवानियत की सभी हदे पर कर देने व् उनकी दरिंदगी की दास्तान हर गली मोहल्ले मैं बयां करती कोई बहन, कोई माँ  तो कोई बेवा औरत मिल जाएगी। पकिस्तान के पाप का घड़ा अब भर गया है। 

विश्व भर मैं अलग थलग पड  चूका पाकिस्तान अपने सबसे ख़राब दौर से गुजर रहा है, आवाम  का सरकार पर से भरोसा उठ चूका है, कुछ दिनों पहले पकिस्तान के मंत्री से संसद मैं कबूला था की भारतीय जवानो पर पुलवामा मे पकिस्तान समर्थित आतंकवादियों ने ही हमला किया था और इसके पीछे पाकिस्तान व् उसकी खुफ़िआ एजेंसी आई एस आई का ही हाथ था. 

इमरान सरकार को अपने आवाम के लिए बेहतर रोजगार व् अच्छी शिक्षा के अवसर तलाशने होंगे अन्यथा वह दिन दूर नहीं जब इमरान खान इतिहास का हिस्सा बनकर रह जायेंगे। 

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